अब ये ‘चाय वाला’ उत्तर प्रदेश में CM की दौड़ मे सबसे आगे
एक किसान परिवार में पैदा हुए केशव प्रसाद मौर्य के बारे में कहा जाता है कि उन्होंने संघर्ष के दौर में पढ़ाई के लिए अखबार भी बेचे और चाय की दुकान भी चलाई.
दिल्ली : यूपी में सबसे बड़ी पार्टी बन कर उभरी बीजेपी में सबसे अहम किरदार फूलपुर से सांसद केशव प्रसाद मोर्य का है जिनको साल भर पहले ही यूपी बीजेपी की कमान सौपी गई थी. अपको बता दें मोदी और केशव प्रसाद मौर्य में एक समानता है ये दोनों नेता बचपन में चाय बेचते थे.
जिसके बाद प्रधानमंत्री मोदी चाय वाले पीएम से मशहूर हुए और अब केशव प्रसाद मौर्य सीएम पद की दौड़ में सबसे आगे बताए जा रहे हैं. कौशाम्बी जिले के एक किसान परिवार में पैदा हुए केशव प्रसाद मौर्य के बारे में कहा जाता है कि उन्होंने संघर्ष के दौर में पढ़ाई के लिए अखबार भी बेचे और चाय की दुकान भी चलाई.
मौर्य RRS से जुड़ने के बाद विश्व हिंदू परिषद (BHP) और बजरंग दल में भी सक्रिय रहे. इस दौरान उन्हें अशोक सिंघल की नजदीकी का फायदा मिला. वीएचपी और बजरंग दल में वह 12 साल रहे.
वर्ष 2012 में इलाहाबाद की सिराथू सीट से वह विधायक बने. 2014 में सांस और 2016 में पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष. तेजी से उनका सियासी कद बढ़ा.
मौर्य कोइरी समाज के हैं और यूपी में कुर्मी, कोइरी और कुशवाहा ओबीसी में आते हैं. कल्याण सिंह के बाद वह पहले नेता हैं जिन्होंने इस पिछड़े वोटबैंक को बीजेपी की ओर खींचा. बीएसपी के साथ रहे मौर्य नेताओं को तोड़ा.